गणेश चतुर्थी पर नया इतिहास: दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र एक साथ, पुरानी संसद को कहा अलविदा, नई का श्रीगणेश
दुनिया का सबसे बड़ा लोकतांत्रिक देश भारत मंगलवार से नवनिर्मित संसद भवन में शिफ्ट हो रहा है। आज सभी सांसदों ने इस पुराने भवन में एक साथ फोटोशूट करवाया। सभी ने मिलकर एक अनोखे अंदाज़ में पुराने संसद भवन का अलविदा कहा।
नई दिल्ली | गणेश चतुर्थी के पावन पर्व पर भारत नया इतिहास रच रहा है। दुनिया का सबसे बड़ा लोकतांत्रिक देश भारत मंगलवार से नवनिर्मित संसद भवन में शिफ्ट हो रहा है।
आज से सदन की कार्यवाही नए संसद भवन में शुरू हो गई। इससे पहले सोमवार को संसद का विशेष सत्र शुरू हुआ है।
जिसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत की गुलामी के दौर से लेकर अमृत काल तक के इतिहास को संजोए रखने वाली पुराने संसद भवन की गाथा को देशवासियों के सामने रखा।
मंगलवार यानि आज नए संसद भवन में जाने के पहले पुरानी संसद के सेंट्रल हॉल में मंगलवार को विदाई समारोह रखा गया। सभी सांसदों ने इस पुराने भवन में एक साथ फोटोशूट करवाया।
संसद के नए भवन में प्रवेश से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आखिरी बार पुराने संसद भवन में सभी सांसदों को संबोधित किया। पीएम मोदी ने बड़ा ऐलान करते हुए कहा कि आज के बाद हमारे पुराने संसद भवन का सेंट्रल हॉल ’संविधान सदन’ के नाम से जाना जाएगा।
सभी ने मिलकर एक अनोखे अंदाज़ में पुराने संसद भवन का अलविदा कहा।
इसके बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत सभी सांसद सेंट्रल हॉल में जुटे और संविधान की कॉपी लेकर पीएम मोदी की अगुवाई में नए संसद भवन की और बढ़े।
पीएम मोदी हाथ में संविधान की कॉपी लेकर पुरानी संसद से नई संसद की ओर बढ़े तो सभी सांसद भी उनके पीछे-पीछे नई संसद की ओर कदम बढ़ाते गए।