Sirohi Rajasthan: सिरोही: दूध देने जा रहे युवक से लूट का प्रयास, ग्रामीणों ने
सिरोही | जिले के पिंडवाड़ा थाना क्षेत्र के नया सानवाड़ा गांव में दूध देने जा रहे एक युवक के साथ लूट का प्रयास किए जाने का मामला अब तूल पकड़ता जा रहा है। इस घटना को लेकर गुरुवार को नया सानवाड़ा सहित आसपास के गांवों से सैकड़ों की संख्या में ग्रामीणों ने कलेक्ट्रेट कार्यालय पर पहुंचकर जोरदार विरोध प्रदर्शन किया। प्रदर्शन के दौरान ग्रामीणों ने पुलिस प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और पिंडवाड़ा थाने में तैनात पुलिसकर्मियों तथा क्षेत्रीय विधायक पर गंभीर आरोप लगाए।
घटना की पृष्ठभूमि
ग्रामीणों के अनुसार, कुछ दिन पूर्व नया सानवाड़ा निवासी एक युवक जब प्रतिदिन की तरह दूध लेकर जा रहा था, तब रास्ते में दो बदमाशों ने उसका रास्ता रोककर लूट का प्रयास किया। ग्रामीणों की सतर्कता से इन दोनों आरोपियों को मौके पर ही पकड़ लिया गया और तुरंत पुलिस को सौंप दिया गया। लेकिन, ग्रामीणों का आरोप है कि पिंडवाड़ा पुलिस ने दोनों बदमाशों को बिना किसी उचित कार्रवाई के छोड़ दिया।
उल्टा ग्रामीणों पर ही दर्ज हुआ मुकदमा
सबसे गंभीर आरोप यह सामने आया कि जिन बदमाशों को ग्रामीणों ने पकड़ा, उन्होंने ही बाद में नया सानवाड़ा गांव के कुछ ग्रामीणों के खिलाफ एससी/एसटी एक्ट के तहत झूठा मुकदमा दर्ज करवा दिया। इस घटनाक्रम से ग्रामीणों में भारी रोष फैल गया है। ग्रामीणों का कहना है कि यह पूरा मामला पुलिस की मिलीभगत और राजनीतिक संरक्षण का परिणाम है।
महिलाएं भी उतरीं सड़कों पर
प्रदर्शन में बड़ी संख्या में महिलाएं भी शामिल हुईं। उन्होंने पुलिस पर पक्षपातपूर्ण रवैया अपनाने और दोषियों को संरक्षण देने का आरोप लगाया। महिलाओं ने कहा कि जब वे थाने में शिकायत दर्ज कराने पहुंचीं तो वहां मौजूद पुलिसकर्मियों ने उनके साथ बदसलूकी की और एक ग्रामीण का मोबाइल फोन भी छीन लिया गया।
पुलिस और विधायक के खिलाफ फूटा गुस्सा
प्रदर्शनकारियों ने पिंडवाड़ा थाने में तैनात महिला हेड कांस्टेबल पर भी गंभीर आरोप लगाए। ग्रामीणों ने कहा कि पुलिसकर्मी ना केवल बदमाशों को खुला संरक्षण दे रहे हैं, बल्कि निर्दोष ग्रामीणों को झूठे मुकदमों में फंसा रहे हैं। ग्रामीणों ने स्थानीय विधायक पर भी मामले में चुप्पी साधने और पुलिस को मौन समर्थन देने का आरोप लगाया।
ग्रामीणों की मांगे
एससी/एसटी एक्ट के तहत दर्ज झूठा मुकदमा तुरंत वापस लिया जाए।
लूट के प्रयास में शामिल असली आरोपियों को गिरफ्तार कर उन पर सख्त कानूनी कार्रवाई की जाए।
पिंडवाड़ा थाने में तैनात दोषी पुलिसकर्मियों की निष्पक्ष जांच कर उन्हें तत्काल निलंबित किया जाए।
पुलिस विभाग में व्याप्त भ्रष्टाचार और राजनीतिक हस्तक्षेप को समाप्त किया जाए।
प्रशासन ने लिया ज्ञापन, दिया आश्वासन
प्रदर्शन को देखते हुए प्रशासन के उच्च अधिकारी मौके पर पहुंचे और प्रदर्शनकारियों से ज्ञापन प्राप्त किया। फिलहाल प्रदर्शन शांतिपूर्ण रहा, लेकिन ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि यदि उनकी मांगे शीघ्र नहीं मानी गईं, तो वे आने वाले दिनों में और बड़ा आंदोलन करेंगे, जिसमें राष्ट्रीय राजमार्ग को जाम करना भी शामिल है।
ग्रामीणों की चेतावनी
ग्रामीणों का कहना है कि यह केवल एक प्रतीकात्मक विरोध था। यदि प्रशासन ने अब भी उनकी आवाज़ नहीं सुनी तो वे चरणबद्ध आंदोलन शुरू करेंगे और जिला मुख्यालय से लेकर जयपुर तक विरोध की चिंगारी को पहुंचाएंगे।